निशिकांत मिस्त्री

जामताड़ा । शहर की स्वच्छ सड़कों पर माथे पर कलश लेकर छोटे-छोटे पग भरतीं रंग-बिरंगे परिधान से सजीं छोटी-छोटी कन्याएं, युवतियां व महिलाएं का आकर्षक दृश्य भक्ति में डूबे शहर को बयां कर रहा था। कलश यात्रा के आगे-आगे चल रहे भव्य रथ पर सवार मां चंचला पर नजरें पड़ने के साथ सिर स्वत: ही महिमा में झुक रहे थे। हजारो की संख्या में कतारबद्ध भक्तों की ओर से जय माता दी, मां चंचला के गंगनभेदी जयकारों से शहर गूंजायमान हो रहा था। वहीं भक्ति गीतों व धुनों पर युवक-युवतियों की टोलियां बिना थके थिरक रहीं थीं। आस्था व अध्यात्म से सराबोर यह नजारा सोमवार को जामताड़ा-मिहिजाम रोड, स्टेशन रोड, कोर्ट रोड तक किसी को मंत्रमुग्ध करने जैसा था। मौका था एक दिवसीय मां चंचला के नवनिर्मित तोरण द्वार उद्घाटन व धार्मिक अनुष्ठान के आगाज का।

सोमवार सुबह भव्य कलश यात्रा में तकरीबन 3100 कन्याएं, युवतियों व महिलाएं कलश यात्रा में एक ही रंग के परिधान में शामिल हुई थीं। पूजा-अनुष्ठान से लेकर शहर में निकली ऐतिहासिक कलश यात्रा से लग रहा था कि शहर की सड़कों पर आस्था का सैलाब उमड़ पड़ा है। सुबह से ही मंदिर में उमड़ने लगे थे भक्त : रेलवे स्टेशन समीप स्थित मां चंचला मंदिर परिसर में बुधवार को सुबह होते ही भक्तों की भीड़ उमड़ने लगी थी। आयोजक तरुण गुप्ता व पत्नी आशा गुप्ता साथ अरुण चौधरी, मनोज बजाज, विजय भगत, रमेश रावत, पिंटू यादव, भूपेश गुप्ता, कामता सिंह, राजेश महतो, मनोज भारती, राकेश गुप्ता, छोटू गुप्ता, छोटू सिंह, कमलेश मंडल, संजय परशुराम, रंजीत मंडल आदि धर्म प्रेमी व व्यवस्था प्रमुख ने व्यवस्थित ढंग से कलश यात्रा निकालने की तैयारी में लगे थे।

कलश यात्रा में शामिल होने के लिए जामताड़ा शहर के विभिन्न मोहल्ला ही नहीं बल्कि आसपास क्षेत्र से भी महिलाओं व कन्याओं यहां पहुंची थी। जिले के गांव-गांव से भक्तों की मौजूदगी ने इस बार की कलश यात्रा को ऐतिहासिक स्वरूप दे दिया। सरकार बांध में केला के पौध स्थापित किए गए : देवघर बाबाधाम से पहुंचे आचार्य महेश पांडेय की अगुवाई में स्थानीय पुरोहित ध्रुवनारायण ठाकुर, उत्तम ठाकुर के मंत्रोच्चारण के साथ मुख्य यजमान तरुण गुप्ता पत्नी आशा गुप्ता व अन्य भक्त राजा बांध पहुंचे। वहां विधि-विधान के साथ केला के पौधे रोपे गए। फिर वहीं मुख्य कलश पर जल भर कर मां चंचला मंदिर लाया गया। यहां तबतक तकरीबन 3100 कलश पर मंदिर परिसर का ही जल भरकर तैयार रखा गया था। मंदिर परिसर से भव्य कलश यात्रा निकाली गई। सड़कें नृत्य-संगीत के अलग-अलग रंग से रंगी : कलश यात्रा में कतारबद्ध श्रद्धालु दो किमी तक र्लबी लाइन में कतारबद्ध रहे।

छोटी-छोटी बच्चियां भी उत्साह के साथ कलश सिर पर उठायी हुई थी। आगे-आगे आयोजन समिति के लोग मुख्य कलश लेकर चल रहे थे तो पीछे कतारबद्ध कन्याएं व महिलाएं। मां चंचला का भव्य रथ व उसकी सजावट कलश यात्रा में देखने लायक थी। आसनसोल व कोलकाता से पहुंची भक्ति जागरण टीम के गायक-गायिकाओं भजनों से कलश यात्रा में शामिल कन्या व महिलाओं को ऊर्जावान कर रहे थे। कलश यात्रा में शामिल कन्या व महिला माथे में कलश थामे पूरे रास्ता भजनों पर थिरकते हुए बढ़ रही थी। कलश यात्रा मंदिर परिसर से निकल कर, सिदो-कान्हू मार्केट, स्टेशन रोड, टॉवर चौक, सुभाष चौक, हनुमान मंदिर पहुंचा। यहां पूजा-अर्चना के बाद पुन: सुभाष चौक, बाजार से गुजरती हुई कलश यात्रा चंचला मंदिर पहुंची।

स्वयंसेवकों की सक्रिय रहे : भव्य कलश यात्रा में ऐतिहासिक भीड़ होगी इसे ध्यान में रखते हुए आयोजन ने पर्याप्त संख्या में संभावित जगहों पर महिला पुरुष स्वयंसेवक की तैनाती कर रखा था। कलश यात्रा व्यवस्थित ढंग से संपन्न कराने को लेकर शहर की मुख्य सड़कों के अहम जगहों पर पहले से महिला स्वयं सेवक व्यवस्था की कमान संभाले हुई थी। मंदिर परिसर का सजावट भव्य : एक दिवसीय अनुष्ठान को लेकर केवल मंदिर का रंग रोगन वह साज साज ही नहीं बल्कि शहर के विभिन्न मार्गो को भी तोरण द्वार से आकर्षक सजाया गया था। सभी प्रमुख मार्ग में तोरण द्वार, के साथ लाउडस्पीकर की व्यवस्था की गई है। केवल मंदिर परिसर में हजारों रुपये के फूलों की सजावट में तोरण द्वार को सजाने में खर्च किए गए थे। मायुमं ने फूलों की बरसात की : कलश यात्रा के दौरान टावर चौक के समीप मारवाड़ी युवा मंच के कार्यकर्ता एकत्र होकर श्रद्धालुओं पर फूलों की बरसा कर रहे थे। वहीं भाजयुमो सदस्यों ने एम्बुलेंस व प्राथमिक उपचार की व्यवस्था मौजूद रखी था। इधर रात में चंचला मंदिर परिसर में बांग्ला कीर्तन का दरबार देर रात तक सजा रहा।

पुलिस की चुस्त व्यवस्था : तीन दिवसीय महोत्सव के लिए निकली कलश यात्रा को सुचारू रूप से संपन्न कराने को लेकर जामताड़ा थाना की पुलिस पदाधिकारी संभावित मार्गों में नियमित भ्रमण कर रहे थे। अंत तक पुलिस जगह- जगह तैनात रही। इंस्पेक्टर सह टाउन थाना प्रभारी रंजीत कुमार सिन्हा खुद सुरक्षा व निगरानी की कमान संभाले हुए थे। सुभाष चौक, टावर चौक, इंदिरा चौक, स्टेशन मोड़ समेत संवेदनशील क्षेत्रों में भारी संख्या में पुलिस के जवान मुस्तैद दिखे। आवाजाही पर प्रतिबंध रहा : कलश यात्रा भ्रमण वाले मार्ग में दो व चार पहिये वाहन का प्रवेश निषेध कर दिया गया था। पुराना कोर्ट, सुभाष चौक, दुमका रोड बस स्टैंड के पास, मिहिजाम रेलवे फाटक के पास पुलिस की कड़ी निगरानी थी। वाहनों को वैकल्पिक मार्ग की तरफ भेजा गया।
एरिया छह के लोगों ने शर्बत बांटा : टावर चौक के समीप एरिया छह के युवा समिति ने कलश यात्रियों पर फूल वर्षा की। शुद्व पेयजल व शर्बत पिलाया। इस कार्य में स्थानीय युवाओं का सराहनीय सहयोग रहा।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *