निशिकांत मिस्त्री

जामताड़ा । नारायणपुर प्रखंड के झिलुवा पंचायत में आजादी के बाद से अब तक सड़क का निर्माण नहीं हो पाया है। झिलुवा पंचायत मुख्यालय से नारायणपुर प्रखंड तक जाने के लिए 8 किलोमीटर की दूरी है। लेकिन ग्रामीणों ने कहा कि घूम कर जाने से 18 किलोमीटर दूरी का सामना करना पड़ता है। नारायणपुर और झिलुवा के बीच खैरबानी में एक पुल है। वह भी धंस कर जर्जर हालत में रह गया है। जिसका निर्माण अब तक नहीं हो पाया है। ग्रामीण ने यह भी कहा कि राज्यपाल की नारायणपुर प्रखंड के मोहनपुर आगमन के समय में इसको लेकर आवेदन भी दिया गया था। लेकिन कुछ पहल नहीं हुआ। वहीं पंचायत भवन का आज तक ताला नहीं खुला है, और ना ही रंग रोगन हुआ है। झिलुवा पंचायत का पंचायत भवन मोहनपुर में विवाह मंडप में संचालन होता है। पंचायत भवन जाने के लिए खेत खलिहान से होकर लोग को गुजरना पड़ता है। झिलुवा गांव के तीन चार सौ छात्र-छात्र सड़क नहीं होने की वजह से जर्जर सड़क पर चलकर स्कूल पहुंचते हैं। पानी के बहाव में सड़क के बीचो-बीच नाली में तब्दील हो गया है। मौके पर आसपास के दर्जनों गांव के ग्रामीण मुनीलाल मंडल ,संतोष मंडल, राजू मंडल ,महेश मंडल, दुर्योधन मंडल, बीएन मंडल, धानो मंडल ,जगन्नाथ मंडल, परेश मंडल सहित अन्य लोग शामिल थे ।कहा कि यहां की जनप्रतिनिधि प्रशासन इतने वर्ष बीत जाने के बाद भी इस क्षेत्र में ध्यान नहीं दिया है। ग्रामीणों ने सामूहिक बैठक कर निर्णय लिया कि अब की बार प्रतिनिधियों का चयन सोच समझकर करना है। वहीं प्रशासन से मांग किया कि नारायणपुर प्रखंड के पिछड़े पंचायत के ऊपर ध्यान आकर्षित कर ग्रामीणों के मांग के आधार पर सड़क निर्माण कराया जाए। 15 से 18 गांव और मोहल्ला मिलकर 1500 आबादी वाले इस क्षेत्र में सड़क की समस्या काफी गंभीर मामला बनकर उभरी है। ग्रामीण विकास विभाग कार्यपालक अभियंता दुखा मंडल ने कहा कि मामला संज्ञान में आया है। अगर ऐसी समस्या है तो टीम भेज कर स्थल निरीक्षण कर आगे की कार्रवाई अग्रेषित किया जाएगा। जामताड़ा विधायक सह ग्रामीण विकास मंत्री इरफान अंसारी ने कहा कि झिलुवा में पुल और सड़क का मंजूरी हो गया है। आचार संहिता के कारण इसका शिलान्यास नहीं करवाया गया है।

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